सोमवार, 28 दिसंबर 2015

घर में खुशियों की सौगात है, मेरी बेटी

हर दुःख सुख में मेरे साथ है, मेरी बेटी
घर में खुशियों की सौगात है, मेरी बेटी

नटखट सी, भोली सी, बड़ी प्यारी सी है
मेरी गुड़िया, मेरी बेटी, बड़ी दुलारी सी है
है वो मासूम सी, ज़िद भी बहुत करती है
सच कहूँ ! हसीं की बरसात है, मेरी बेटी
घर में खुशियों की सौगात है, मेरी बेटी

शरारत के सिवाय कुछ नही करती है
चूहे के अलावा किसी से नही डरती है
घर में उसका अलग ही रौब होता है
कोई डाल डाल, तो पात पात है, मेरी बेटी
घर में खुशियों की सौगात है, मेरी बेटी

एक से बढ़कर एक ख्वाहिशें हैं उसकी
रोज़ होती नई-नई फरमाइशें हैं उसकी
मैं उसके सवालों से बच नही पाता हूँ
जब कभी भी करती सवालात है, मेरी बेटी
घर में खुशियों की सौगात है, मेरी बेटी

दुनियाँ में उसको अलग पहचान दिलानी है
बेटियाँ बोझ नही, बात सबको समझानी है
साथ, कदम से कदम मिलाकर चलेगी वो
हमेशा मैं उसके, वो मेरे साथ है, मेरी बेटी
घर में खुशियों की सौगात है, मेरी बेटी